ब्लाक प्रमुख चुनाव में सत्ता पक्ष और सहयोगी दल अपने प्रमुख प्रत्याशियों को निर्विरोध विजयी बनाने में सफलता की ओर बढ़े
सिद्धार्थनगर ब्यूरो:- जिला सिद्धार्थनगर के जिला पंचायत अध्यक्ष चुनाव में जहां भारतीय जनता पार्टी को भारी सफलता मिली और हर दल में तथा निर्दल सदस्यों में सेन्ध लगाकर 40 सदस्यों का समर्थन प्राप्त कर शीतला सिंह जहां जिला पंचायत अध्यक्ष सिद्धार्थनगर की कुर्सी पर काबिज हुई वहीं आज ब्लॉक प्रमुख पद के चुनावों में इटवा ब्लॉक को छोड़कर अन्य जगहों पर विवाद की स्थित नहीं रही इटवा ब्लॉक एक ऐसा क्षेत्र है जहां पूर्व विधानसभा अध्यक्ष एवं सपा के दिग्गज नेता माता प्रसाद पाण्डेय का क्षेत्र है वही उत्तर प्रदेश सरकार के बेसिक शिक्षा राज्य मंत्री सतीश द्विवेदी का मूल जनपद है और सत्ता पक्ष तथा समाजवादी पार्टी के लिये जहां स्वयं पूर्व विधानसभा अध्यक्ष अपने प्रत्याशी को इटवा ब्लाक प्रमुख पद पर विजयी बनाना चाहते थे वहीं सत्ता पक्ष के मंत्री के लिये इस ब्लाक का प्रमुख पद प्रतिष्ठा का प्रश्न था। ऐसे में आरोप प्रत्यारोप की सम्भावना ज्यादा थी इससे पूर्व डुमरियागंज में सपा नेता रामकुमार उर्फ चिनकू द्वारा सत्ता पक्ष पर और पुलिस प्रशासन पर पहले ही आरोप लगाया जा चुका था, किन्तु शांतिपूर्ण तरीके से अपना दल जो भाजपा का प्रदेश में सहयोगी दल है, अपना दल के शोहरतगढ़ विधायक अमर सिंह चौधरी अपने मूल निवास क्षेत्र बर्डपुर ब्लॉक के प्रमुख पद पर अपनी पत्नी को निर्विरोध विजयी बनवाने में सफल रहे। सम्पूर्ण परिणाम और सही स्थितियां अभी साफ नहीं हो पायी है, क्योंकि प्रशासन का ध्यान इटवा ब्लॉक पर चला गया, जहां पूर्व विधानसभा अध्यक्ष का आरोप था कि उनके साथ और उनके उम्मीदवारो के साथ विपक्षियों द्वारा धक्का-मुक्की करने का प्रयास किया गया, कुल मिलाकर पिछले दो दसकों का यहीं आकड़ा है, कि चाहे जिला पंचायत अध्यक्ष की कुर्सी हो या ब्लाक प्रमुख की कुर्सी धन एवं सत्ता के बल पर ही इन पदों पर चुनाव लोभ लालच, भय और हर प्रकार के हथकण्डे अपनाकर हर पूर्ववर्ती सरकारों द्वारा अपने गुट को उक्त पदों पर आसीन कराने का प्रयास किया जाता रहा, ऐसे में आरोप-प्रत्यारोप का कोई मायने नहीं क्योंकि इन प्रकार के चुनाव में लगभग हर सत्ता पक्ष द्वारा जिसकी भी सरकार रही उनमें मनमानी करने के मामले मीडिया के पन्नों में महफूज है, और यही कारण है कि जिला पंचायत अध्यक्ष और ब्लाक प्रमुख पदो के लिये जनता से सीधे मतों द्वारा चुने जाने की मांग उठ रही है।